Tuesday, 19 February 2019
Monday, 18 February 2019
Celebrity columnist
and social activist Nisha JamVwal hosted a swish sit-down lunch along with a
panel discussion on the subject of 'Connecting Rural India through Technology'
for Detel Foundation and its founder Yogesh Bhatia at Bombay’s best rooftop restaurant
Souk, for select friends, over a seven course gourmet lunch. Guests comprising
of famed celebrities Anu Malik , actor Ranjeet, ace lawyer Mrunalini Deshmukh,
maestro Anup Jalota, chef Amrita Raichand, courtier Amy Billimoria, Shashi
Bansal, Naazi Bedi engaged in the panel discussion on the importance of
technology and telecommunications in skill development and improving education
in India’s tier two, tier three towns and villages as they dug into the
delectable cuisine.
JamVwal, looking
gorgeous in a gold lamé slinky creation, shared “I believe India is not its
cities but its villages and there must be rural development and women
empowerment in tier two and tier three cities for the country to forge ahead.
Technology, smart learning, skill development and e-education using technology
and technical advancement is the key.”
Said
Bhatia of Detel India “We believe that our feature phone is a means to
connecting #40croreindians and the foundation works and my missions is to equip
the underprivileged kids and farmers in villages by giving feature phones and
televisions to grow their exposure and knowledge base.”
Thursday, 14 February 2019
रेड रिबन के तीन सिंगल गानों के साथ मनाइए वैलेंटाइन्स डे
इस वैलेंटाइन्स डे को रेड रिबन के लेबल के तहत जारी किए गए तीन रोमांटिक गानों के साथ मनाइए. पहला गाना 'ये दिल दिवाना, माने न' को अपनी सुरीली आवाज़ में गाया है अनुराधा पौडवाल ने. इसे लिखा और कम्पोज़ किया है लक्ष्मी नारायण ने. इसे गाने को गाकर अनुराधा पौडवाल बेहद ख़ुश हैं क्योंकि एक लम्बे समय बाद उन्हें एक ऐसा बेहतरीन गाना गाने का मौका मिला है, जिसके वीडियो में भी वो नज़र आएंगी.
रेड रिबन द्वारा जारी किया गया दूसरा गाना है 'ये मुझे क्या हुआ है' जिसे अपनी मधुर आवाज़ प्रदान की है सिंगर/परफॉर्मर लालित्य मुंशॉ और ऐश्वर्या निगम ने. इस गाने को पूजा नीलम कपूर ने कम्पोज़ किया है तो वहीं इसे लिखा है काशी कश्यप ने. 'ये मुझे क्या हुआ है' संगीत प्रेमियों के लिए किसी तोहफ़े से कम नहीं है.
इसका वीडयो भी बेहद दर्शनीय है जिसे हिमालय की पहाड़ियों यानि कि उत्तराखण्ड में देहरादून के ऋषिकेश व मसूरी में फ़िल्माया गया है. इस वीडियो में लालित्य मुंशॉ के और रूबरू मि. इंडिया 2017 फ़ेम कपिल गुज्जर नज़र आएंगे.
लालित्य मुंशॉ ने हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत में शिक्षा हासिल की है और वो एक बेहद प्रतिभाशाली सिंगर, परफॉर्मर और एंतरप्रोन्योर मानी जाती हैं. वहीं पूजा नीलम कपूर संगीत के क्षेत्र में महारत हासिल रखती हैं. उन्हें वर्ल्ड रेकॉर्ड्स संबंधी 28 सर्टिफिकेट हासिल हैं और उन्हें इंडियन टेली अकादमी द्वारा सबसे युवा अचीवर का गौरव भी मिल चुका है.
उन्हें आंखों पे पट्टी बांधकर म्यूज़िक कम्पोज़ करने के लिए जाना जाता है और दो बार यानी 2015 व 2016 में उन्हें पद्मश्री पुरस्कार के लिए नामांकित किया जा चुका है.
खैर, तीसरे गाने 'टूटा हूं बिखरा नहीं' में एक्टर आर्यन पंडित नज़र आएंगे. ये गाना ग़मगीन किस्म का एक रोमांटिक गाना है. आर्यन एक टेलीविजन एक्टर हैं जिन्होंने ये गाना लिखा भी है, इसे कम्पोज़ भी किया है और इसे गाया भी ख़ुद ही है. इस वीडियो में उनके साथ फ़िल्म मॊम फ़ेम वाणी सूद नज़र आएंगी. और इस वीडियो का डायरेक्शन किया है हैरी ने.
ये तीनों श्रवणीय, दर्शनीय और भव्य गाने अब सभी डिजिटल प्लेटफॉर्म पर रेड रिब्बन लेबल म्यूज़िक के तहत उपलब्ध हैं. तो चलिए सुरीले अंदाज़ में वैलेंटाइन्स डे मनाने के लिए हो जाइए तैयार!
मंगेशकरांचे नवीन गोड प्रेझेंट!
प्रख्यात खवय्ये शेफ विष्णू मनोहर यांच्या हस्ते नुकतेच पुण्यातील एरंडवणे येथील मिसेस बीज केकरी (Mrs B's Cakery) या नवीन केक शॉपचे उदघाटन करण्यात आले आहे. आवाजातील गोडव्याने श्रोत्यांच्या मनावर राज्य करणारं एकमेवाद्वितीय असं मंगेशकर कुटुंबिय आणि माधवी जोशी यांनी मिळून मिसेस बीज केकरी (Mrs B's Cakery) हे नवीन केक शॉप उघडून पुणेकरांच्या आयुष्यात आणखीन गोडवा आणला आहे.
प्रसंगी उदघाटन सोहोळ्यास पद्मश्री पंडित हृदयनाथ मंगेशकर, भारती मंगेशकर, आदिनाथ मंगेशकर, कृष्णा मंगेशकर, बैजनाथ मंगेशकर, माधवी जोशी यांसमवेत इतर अनेक मान्यवर मंडळी उपस्थित होती.
प्रसंगी उदघाटन सोहोळ्यास पद्मश्री पंडित हृदयनाथ मंगेशकर, भारती मंगेशकर, आदिनाथ मंगेशकर, कृष्णा मंगेशकर, बैजनाथ मंगेशकर, माधवी जोशी यांसमवेत इतर अनेक मान्यवर मंडळी उपस्थित होती.
Tuesday, 12 February 2019
'Woh Jo Tha Ek Massiah Maulana Azad' Music Release By Red Ribbon
Woh Jo Tha Ek Massiah Maulana Azad, the film based on the life of the freedom fighter-scholar-activist Maulana Abul Kalam Azad, was released last week. The Times of India’s review of the film stated, “If you are intrigued to learn more about Indian history in general and Maulana Azad in particular, then you can turn to ‘Woh Jo Tha Ek Messiah Maulana Azad’.” The film achieved critical acclaim.
The music release on digital platforms was through singer-performer-entrepreneur Lalitya Munshaw’s Red Ribbon Entertainment, a leading music company and record label. The film’s music boasts five inspiring tracks. ‘Abul Kalam Azad tha Bharat ka dulara’ and ‘Tu hai mashgul bahut’, two tracks of the album are sung by Vivek Naik. ‘Hum sab mile toh desh ko anjaam milega’ is sung by Sachin Jarle and Sujata Patwa. ‘Apni apni aag mila lo sholay ban jayenge’ and ‘Ae khuda ye kya kiya’ are sung by Pancham Pardeshi. The lyrics have been penned by Dr. Rajendra Gupta and chorus music has been craftily incorporated into these tracks by Darshan Kahar, the film’s music composer. On the music’s digital release, Lalitya Munshaw averred, “We feel proud to be associated with the makers of Maulana Azad biopic, the film on the man who contributed so much to our India. This is the age of biopics of personalities like Maulana Azad, Balasaheb Thackeray among others. The music is energizing and lyrics penned are beautiful.”
Written, directed and produced by Dr. Rajendra Gupta Sanjay, this biopic on India’s first education minister is a fitting tribute to his legacy.
The music release on digital platforms was through singer-performer-entrepreneur Lalitya Munshaw’s Red Ribbon Entertainment, a leading music company and record label. The film’s music boasts five inspiring tracks. ‘Abul Kalam Azad tha Bharat ka dulara’ and ‘Tu hai mashgul bahut’, two tracks of the album are sung by Vivek Naik. ‘Hum sab mile toh desh ko anjaam milega’ is sung by Sachin Jarle and Sujata Patwa. ‘Apni apni aag mila lo sholay ban jayenge’ and ‘Ae khuda ye kya kiya’ are sung by Pancham Pardeshi. The lyrics have been penned by Dr. Rajendra Gupta and chorus music has been craftily incorporated into these tracks by Darshan Kahar, the film’s music composer. On the music’s digital release, Lalitya Munshaw averred, “We feel proud to be associated with the makers of Maulana Azad biopic, the film on the man who contributed so much to our India. This is the age of biopics of personalities like Maulana Azad, Balasaheb Thackeray among others. The music is energizing and lyrics penned are beautiful.”
Written, directed and produced by Dr. Rajendra Gupta Sanjay, this biopic on India’s first education minister is a fitting tribute to his legacy.
Saturday, 9 February 2019
अभिनेत्री भाग्यश्री ने किया डॉ. प्रेम जग्यासी की किताब 'कार्व योर लाइफ़' का विमोचन
अभिनेत्री भाग्यश्री ने किया डॉ. प्रेम जग्यासी की किताब 'कार्व योर लाइफ़' का विमोचन
'कार्व योर लाइफ़ : लिव ए ग्रेट लाइफ़ विद कार्विज़्म' लोगों के सशक्तिकरण से जुड़ी एक ऐसी किताब है जो लोगों को अपने होने के सही मायने सिखाती है, ज़िंदगी का सही अर्थ समझाती है और कामयाब अंदाज़ में जीवन जीने की राह बताती है. इस किताब का प्रकाशन टाइम्स ग्रुप बुक ने किया और इसका विमोचन फ़िल्मों और टीवी से जुड़ी एक मशहूर हस्ती भाग्यश्री ने किया.
'कार्व योर लाइफ़' डॉ. प्रेम जग्यासी द्वारा प्रचिलित कार्विज़्म के सिद्धांतों को पेश करती है. इसे उन्होंने 'सेल्फ़ कार्विंग क्वालिटीज़', 'शेप योर माइंड' और 'फ़ाइंड योर पैशन' के ज़रिए समझाया है. लेखक के मुताबिक, हमारी ज़िंदगी गैर-ज़रूरी चीज़ों को हासिल करने के बोझ तले दब गयी है, जिसके चलते हम अपनी ज़िंदगी को सही मायनों में समझ नहीं पा रहे हैं और न ही उसे 'अनकवर' कर पा रहे हैं. अगर हम ऐसा करने के क़ाबिल हो जाते हैं तो हमें अपनी ज़िंदगी का असली मकसद समझ आ जाएगा और इसे हम हंसी-ख़ुशी गुज़ार पाएंगे. ऐसे में अपनी ज़िंदगी की कार्विंग ही ख़ुशहाम जिंदगी का एकमात्र उपाय है.
लेखक डॉ. प्रेम जग्यासी विश्व स्तर के प्रख्यात लीडर और जाने-माने लाइफ़ कोच हैं. उन्होंने अब तक कई अहम व्याख्यान दिए हैं और कई देशों में महत्वपूर्ण और मुद्दों पर आधारीत कार्यशालाओं का भी आयोजन कर चुके हैं. वो कस्टमाइज़ तरीके से
कार्व योर लाइफ़ ट्रेनिंग प्रोगाम के लिए काफ़ी मशहूर हैं. अपनी इस किताब में उन्होंने मिनिमिलिज़्म यानि ग़ैर-भौतिकतावाद, उत्पादकता और ख़ुद में संपूर्ण बदलाव से जुड़े तमाम सवालों के जवाब दिए हैं.
किताब लिखने की अपनी प्रेरणा के बारे में बोलते हुए डॉ. प्रेम जग्यासी ने कहा, "कम से कम भौतिक चीज़ों का इस्तेमाल करते हुए अपनी ज़िंदगी को भरपूर अंदाज़ में जीने की कला ही ख़ुद में अधिकतम बदलाव लाने का सबसे बढ़िया तरीका है. मेरी ये किताब उन सभी के लिए किसी मसीहा की तरह काम आएगी जो अपनी ज़िंदगी के मायने ढूंढना चाहते हैं और ज़िंदगी को सर्वश्रेष्ठ तरीके से जीना चाहते हैं."
इस किताब को अभिनेत्री भाग्यश्री ने लॉन्च किया. वो एक ऐसी अभिनेत्री हैं जो अपनी शर्तों पर ज़िंदगी जीती हैं. इतना ही नहीं, वो समाज और फ़िल्म इंडस्ट्री के प्रति अपने उत्तरदायित्व के प्रति भी काफ़ी सजग हैं और दोनों को बराबर अपना योगदान देती रहती हैं. लेखक के मुताबिक, भाग्यश्री एक ऐसी शख़्स हैं जिन्होंने सही मायने में कार्विज़्म के हिसाब से अपनी ज़िंदगी को जिया है और यही वजह है कि 'कार्व योर लाइफ़' के विमोचन के लिए वे एकदम उपयुक्त शख़्सियत हैं.
किताब की तारीफ़ करते हुए भाग्यश्री ने कहा, "अक्सर हम कामयाबी की अतार्किक परिभाषा गढ़ लेते हैं. बहुत कुछ हासिल करने से ज़्यादा ज़िंदगी के लिए अपने योगदान को रेखांकित करना ज़रूरी है. जिस चीज़ में आपको खुशी मिले वो सब करना चाहिए, अपने जुनून को फॉलो करना चाहिए और अपनी दिल की सुनना चाहिए. प्रेम जग्यासी की किताब में कार्विज़्म सिद्धांतों के ज़रिए हमें अपनी जिंदगी से ग़ैर-ज़रूरी चीजें मिटाने और हमें पूर्णता का एहसास कराने वाले व हमारी ज़िंदगी को अर्थपूर्ण बनाने वाली चीज़ों को बनाए रखने से संबंधित अच्छी मिसालें मिलेंगी."
हाल ही के दशक में, व्यवहारिकता पर आधारित, सामायिक और जीवन में प्रेरणा देनेवाली किताबों की मांग काफ़ी बढ़ी है. 'कार्व योर लाइफ़' उसी खायी को पाटने, लोगों को ज़िंदगी के सही मायने समझाने और ज़िंदगी को ख़ुशनुमां बनानेवाले भौतिक व ग़ैर-भौतिक पहलुओं पर प्रकाश डालने की उम्दा कोशिश है.
इस किताब का संपादन, प्रकाशन और विपणन टाइम्स ग्रुप बुक्स (टीजीबी) ने किया है. टीजीबी की सीनियर एडिटर मधुलिता मोहंती ने इस किताब के संबंध में कहा, "हम इस किताब 'कार्व योर लाइफ़' के प्रकाशन को लेकर बेहद ख़ुश हैं. हम यकीन है कि डॉ. प्रेम जग्यासी द्वारा विकसित की गयी कार्विस्म की फ़िलोसॉफ़ी को पढ़ने से पाठकों को बहुत लाभ होगा क्योंकि इसमें अपनी क्षमता को भरपूर तरह से इस्तेमाल करने का कारगर मंत्र शामिल है."
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